अनुसरण या गुंडाराज !!!😡
- Smriti Tiwari
- Aug 26, 2017
- 1 min read
मुट्ठी भर अंधभक्तों ने किया बवाल रक्त रंजीत हो गई धरा जब लाल चंहु ओर हाहाकार और प्रतिकार फ़िर निःशब्द है सरकार।।।। धूं-धूं कर जलते कितने प्राण जब दोषी ही बन बैठा बलवान कैसा बदल रहा यह देश है क्या विध्वंस ही भर शेष है।। तोड़ी मर्यादा छोड़ा सदाचार निर्दोष -मासूमों पर अत्याचार ये हिंसा की कैसी रीत है और आख़िर किस गुरु की यह सीख है।। कर नहीं सकते वो कोई कर्म मलीन फ़िर न्याय का निर्णय हुआ ज़लील अब न राम बचे न बचे रहीम कोरी अंधभक्ति में भक्त है लीन । एक बार फिर गुंडाराज जारी है और हम सब मूक दर्शक की भांति खड़े देख रहे हैं सब !!!@ कितने दिन बीते अखबार के पन्ने इसी प्रकार के दोगले और अराजक अनुयाइयों के कुत्सित कृत्यों से रंग रहता है । हमारे संभ्रांत महामहिम के अनुसार देश बदल रहा है, पर वह शायद बतलाना भूल गए की आखिर किस परिपेक्ष्य में बदलाव अग्रसर है। हम सिर्फ निर्भया और दामिनी के लिए "मौन कैंडल मार्च" कर सकते हैं किंतु जब उन्हीं के दोषियों को सज़ा सुनाने का वक़्त आता है तो हमें दोषियों के साथ उसके समर्थकों से भी भिड़ना पड़ता है । अजीब स्थिति है!!! काश ! ऐसे समर्थक सही राह का चुनाव कर उन पीड़ितों के पीछे ढाल बनकर खड़े होते तो आज एक निर्भया के बाद दूसरी ... तीसरी ... का सैकड़ों दामिनी के दामन को नापाक हाथ छू भी न पाते ।। एक बार फिर गुंडाराज जारी है और हम सब मूक दर्शक की भांति खड़े देख रहे हैं सब । ◆◆◆◆◆◆ ● Śमृति @ मुक्त ईहा © https://smileplz57.wixsite.com/muktiiha Like @ https://www.facebook.com/me.smriti.tiwari/ Follow@ https://www.instagram.com/mukht_iiha/ छायाचित्र आभार🤗 - !nterne+

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