Simple Talks👫
- Smriti Tiwari
- Oct 28, 2017
- 1 min read
🌠...... बड़े दिनों से कई सवाल थे ज़ेहन में, सोचा आज तुम भी हो, मैं भी तो पूछ ही डालूं तुमसे।। 👫•••••••••👫 सुनो!!! ग़र मैं एक छोटी बात कहूँ तो मुझसे नाराज़ तो नहीं होगी। ......... ग़र स्याह आकाश को रात कहूँ तो उजली सी आग तो नहीं होगी। ......... ग़र पूनम को चाँदनी की बरसात कहूँ तो तारों से मुलाकात तो नहीं होगी। ......... ग़र साग़र को छलके जाम का गाज़ कहूँ तो मयखानों को परवाह तो नहीं होगी। ........ ग़र झुकी डाली को खिंची कमान कहूँ तो शिकारी तीरों की झंझावात तो नहीं होगी। ........ ग़र धरा पे झुकते नभ को रसिक मिज़ाज़ कहूँ तो नाबूद आशिकों की बज़्मे ख़ाक तो नहीं होगी। ......... सुनो!!! ग़र मैं एक छोटी बात कहूँ तो मुझसे नाराज़ तो नहीं होगी। ••✍✍✍ © Śमृति #Mukht_iiha Webpage🏷: https://smileplz57.wixsite.com/muktiiha Facebook👍 : S'मृति "मुक्त ईहा"

Comments